Brain Haemorrhage – Ayurvedic Treatment

आधुनिक प्रतियोगिता के युग ने मनुष्य को मशीनवत बना दिया है, निरंतर काम ही काम, बस आगे बढ़ने की होड़ ! इस अनवरत भाग दौड़ से मनुष्य सदैव तनावग्रस्त रहता है। दिमाग में हमेशा तनाव रहना अर्थात उसका कुछ न कुछ परिणाम शरीर पर होता है, यह तनाव की स्थिति अनेक कष्टों को उत्पन्न कर सकती है। इसी तनाव…

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Paralysis – Ayurvedic Panchkarma Treatment

पक्षाघात अर्थात लकवा ऐसा रोग है, जिसका आक्रमण होते ही रोगी सहित उसके परिवार के सदस्य भी घबरा जाते हैं। वैद्यकीय अनुसंधानों से ज्ञात हुआ है कि इस रोग का आगमन बहुधा 35 वर्ष की आयु पूर्ण होने पर ही होता है किंतु कई बार अल्पवयीन लोगों को भी इसका शिकार होते देखा गया है। महिलाओं की तुलना में…

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Take Care of Your Spine

आधुनिकता की दौड़ में हम परिश्रम से दूर होकर यांत्रिक जीवन जीने लगे हैं। हमारे लगभग हर कार्य में मशीनों का प्रवेश हो गया है। चाहे चटनी बनाने या मसाले पीसने के लिए ग्राइंडर का या फिर कपड़े धोने के लिए वाशिंग मशीन का उपयोग हो, हमें ज्यादा हाथ-पैर हिलाने नहीं पड़ते। पहले महिलाएं सिलबट्टे पर चटनी पीसती थी,…

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Keto Diet in Obesity

स्वस्थ जीवन के लिए संतुलित आहार और व्यायाम महत्वपूर्ण स्थान रखता है। आजकल जिम जाने का प्रचलन तो बढ़ ही रहा है, साथ ही मोटापा कम करने के लिए किटोजेनिक या किटो डायट व लो कार्बोहाइड्रेट डायट (LCD) को लेकर काफी उत्साह देखा जा रहा है। किटो डाइट कम कार्बोहाइड्रेट आहार के लिए जाना जाता है। किटो डाइट से…

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Mental Diseases and Ayurveda

आयुर्वेद में आचार्यों ने स्वस्थ व्यक्ति की परिभाषा सुंदर व सटीक रूप से की है-

‘समदोषः समाग्निश्च समधातु मल क्रियः प्रसन्नात्मेंद्रिय मनः स्वस्थ इत्यभिधीयते”

अर्थात जिसके दोष, धातु व मलक्रिया सम होने के साथ-साथ आत्मा, इन्द्रिय व मन प्रसन्न है वही स्वस्थ व्यक्ति के अंतर्गत आता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भी देर से ही सही इस तथ्य को स्वीकार कर अब स्वास्थ्य की परिभाषा इस तरह की है-

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